Donald Trump ने जताई नाराज़गी, बोले – Apple भारत में iPhone मैन्युफैक्चरिंग रोके

हाल ही में अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने Apple के CEO टिम कुक से मुलाकात की और कहा कि वो अमेरिका में Apple की मदद कर रहे हैं, लेकिन उन्हें यह पसंद नहीं आया कि Apple अब भारत में iPhone बनाना चाहता है। ट्रंप ने साफ कहा कि वह नहीं चाहते कि Apple भारत में मैन्युफैक्चरिंग करे।

हालांकि, Apple ने ट्रंप की इस बात को नजरअंदाज कर दिया है और भारत में निवेश जारी रखने का फैसला किया है। Apple ने अपने मुख्य पार्टनर Foxconn को उत्तर प्रदेश में 3700 करोड़ रुपये की लागत से चिप प्लांट बनाने को कहा है, जो 2027 तक चालू हो जाएगा।

BY-Sanjeet Choudhary

Donald Trump
Donald Trump comment on Apple

अब सवाल उठता है कि ट्रंप भारत से इतने नाराज़ क्यों हैं? इसके पीछे कई वजहें हैं:

  • भारत की मिलिट्री स्ट्राइक – हाल ही में भारत ने (Operation Sindoor ) पाकिस्तान के 11 एयरबेस पर हमला किया और सेटेलाइट इमेजेस के जरिए यह साबित भी किया। इससे पाकिस्तान को भारी नुकसान हुआ और दुनियाभर में भारत की ताकत को मान्यता मिली। न्यूयॉर्क टाइम्स जैसे अखबारों को भी भारत की तारीफ करनी पड़ी।भारत ने यह भी दिखाया कि उसने चीन के एयर डिफेंस सिस्टम को जाम कर दिया। रिपोर्ट्स के मुताबिक, भारत की स्ट्राइक से पाकिस्तान का 20% एयरफोर्स इंफ्रास्ट्रक्चर नष्ट हो गया, जिसमें कई F16 और JF-17 थंडर फाइटर जेट्स शामिल हैं।
  • अमेरिका का दोहरा रवैया – अमेरिका, खासकर ट्रंप, नहीं चाहते कि भारत पाकिस्तान को इस तरह कमजोर करे क्योंकि इससे अमेरिका की दक्षिण एशिया में रणनीति पर असर पड़ता है।
    अमेरिका नहीं चाहता कि भारत सैन्य रूप से पाकिस्तान को इस तरह नष्ट करे। ट्रंप ने यह भी दावा किया था कि उन्होंने भारत-पाकिस्तान के बीच युद्ध रोका, लेकिन भारत ने इसे साफ तौर पर खारिज कर दिया। भारत ने कहा कि किसी तीसरे देश ने युद्ध नहीं रोका, बल्कि पाकिस्तान ने खुद नुकसान के बाद रुकने को कहा।
  • भारत का ट्रंप को एक्सपोज करना – भारत ने ट्रंप के उस बयान को भी झूठा बताया जिसमें उन्होंने कहा था कि उन्होंने भारत-पाक के बीच न्यूक्लियर वॉर रुकवाई थी। भारत ने कहा कि ऐसा कुछ नहीं हुआ।
    अमेरिका नहीं चाहता कि भारत सैन्य रूप से पाकिस्तान को इस तरह नष्ट करे। ट्रंप ने यह भी दावा किया था कि उन्होंने भारत-पाकिस्तान के बीच युद्ध रोका, लेकिन भारत ने इसे साफ तौर पर खारिज कर दिया। भारत ने कहा कि किसी तीसरे देश ने युद्ध नहीं रोका, बल्कि पाकिस्तान ने खुद नुकसान के बाद रुकने को कहा।
  • Apple की भारत में बढ़ती मौजूदगी – Apple जैसे बड़े ब्रांड का भारत में मैन्युफैक्चरिंग बढ़ाना अमेरिका को खटक रहा है क्योंकि इससे अमेरिका में जॉब्स कम हो सकती हैं।
  • Trump Towers का भारत में बिजनेस – ट्रंप खुद भारत में रियल एस्टेट से पैसे कमा रहे हैं। हाल ही में गुरुग्राम में उनके प्रोजेक्ट में 3250 करोड़ रुपये के फ्लैट्स बिके। इससे साफ होता है कि जब बात अपने फायदे की हो, तो ट्रंप को भारत में निवेश से दिक्कत नहीं होती। भारत के अमीर लोग इन लग्जरी अपार्टमेंट्स को खरीद रहे हैं, और ट्रंप को इससे फायदा हो रहा है।
  • क्रिप्टो डील से ट्रंप को फायदा – पाकिस्तान सरकार ने एक क्रिप्टो कंपनी में निवेश किया है, जिसमें ट्रंप के करीबी रिश्तेदार की हिस्सेदारी है। इससे ट्रंप को आर्थिक फायदा होगा, इसलिए वह पाकिस्तान के लिए नरम रवैया अपना रहे हैं।
  • ट्रंप के बयान में बदलाव– भारत के सख्त रवैये के बाद ट्रंप अपने बयान बदल रहे हैं। पहले वे कहते थे कि उन्होंने युद्ध रोका, लेकिन अब कह रहे हैं कि उन्होंने सिर्फ मदद की थी। भारत के विदेश मंत्री डॉ. अजय शंकर ने भी ट्रंप के दावों को खारिज किया, जिसमें ट्रंप ने कहा था कि भारत ने टैरिफ 0% करने का वादा किया है।
  • भारत की सैन्य ताकत और वैश्विक प्रभाव-भारत की सैन्य ताकत से प्रभावित होकर कई देश अब राफेल फाइटर जेट्स खरीदना चाहते हैं। इंडोनेशिया जैसे देशों ने कहा है कि वे चीन के J-17 थंडर की जगह राफेल लेंगे। अफ्रीकी देशों में भी चीनी एयर डिफेंस सिस्टम के ऑर्डर कम हो रहे हैं। इससे अमेरिका नाराज है, क्योंकि उनके F16 और F18 जेट्स की मांग कम हो रही है।
  • Apple का जवाब-जब Apple से ट्रंप के बयान पर सवाल किया गया, तो कंपनी ने कहा कि वह ट्रंप की आपत्तियों के बावजूद भारत में अपनी योजनाओं को आगे बढ़ाएगी। Apple भारत में मैन्युफैक्चरिंग बढ़ाने जा रही है। हाल ही में Apple ने अपने मुख्य सप्लायर Foxconn को उत्तर प्रदेश में 3700 करोड़ रुपये का चिप प्लांट लगाने को कहा है, जो 2027 तक शुरू हो जाएगा। इससे भारत में Apple की मैन्युफैक्चरिंग और बढ़ेगी।

निष्कर्ष-

ट्रंप का भारत को लेकर नाराज़ होना कहीं न कहीं उनके निजी और राजनीतिक हितों से जुड़ा है। लेकिन जमीनी हकीकत ये है कि Apple समेत कई बड़ी कंपनियां भारत में मैन्युफैक्चरिंग बढ़ा रही हैं, और भारत की ताकत को दुनिया अब नज़रअंदाज़ नहीं कर सकती।


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